नीराजन
ॐ जय जय गौ माता देवी जय जय गौ माता, मंगल मुक्ति प्रदायनी जनम मरण त्राता | ॐ जय जय गौ माता... .२
गुरु वशिष्ठ की सेवा नंदिनी चितलाई, कामधेनु से हारे सैनिक समुदाई । ॐ जय जय गौ माता... .२
ब्रह्मा विष्णु विराजे शिव तन पर धारे, गौ मुख नित श्री गंगा ताज सकल सारे । ॐ जय जय गौ माता...२
सूर्य वंश के राजा अमर दिलीप भये, गौ माता की सेवा से पावन मोक्ष गए। ॐ जय जय गौ माता...२
भरत भूमि की रक्षा माता तुमने नित्य करी. पञ्च द्रव्य का सेवन क्षण में बौद्धि भई | ॐ जय जय गौ
माता...२
कलयुग त्रासि निवारिणी हरत बास भोगी, करे अन्न सौ सेवा शुख पावे सब रोगी | ॐ जय जय गौ माता...२
सूर्य चन्द्रमा नव गृह जो परताप करे, गौ माता की सेवा से पातक पुँज टरे | ॐ जय जय गौ माता...२
गौ सेवा करि आरती जो जन नित गावे, कहे मधुर कवि भव से पार उतर जावे। ॐ जय जय गौ माता...२